कलश स्थापना के साथ चैती नवरात्र शुरू, माँ की आराधना में लीन हुआ पूरा भारत
Chaiti durga puja: चैत्र नवरात्र रविवार से कलश स्थापना के साथ शुरू हो गया है। कलश स्थापना के साथ ही पूरा देश मां की आराधना में लीन हो गया। चैत्र नवरात्र के मौके पर देश भर के मां भगवती के मंदिरों में रविवार को कलश स्थापना कर नौ दुर्गा का पाठ शुरू किया गया।
जहां सुबह से ही मां के भक्तों का तांता लगा है। धार्मिक मान्यता के अनुसार सही मुहूर्त में कलश स्थापित करने से मां दुर्गा की कृपा बनी रहती है।
कलश स्थापना के साथ ही मां के भक्त विधि-विधान से नौ दिनों तक मां दुर्गा की पूजा करेंगे।
पूजा पंडालों को अंतिम रूप देने में जुटे हैं कारीगर
इधर चैती दुर्गा पूजा को लेकर कई स्थानों में भब्य पूजा पंडाल भी बनाया जा रहा है। कई जगह पंडाल का निर्माण कार्य पूरा नहीं हो पाया है। कारीगर पूजा पंडाल को अंतिम रूप देने में जुटे हैं। माता रानी के दरबार को भव्य रूप देने के लिए कलाकार दिन रात एक कर पंडाल का निर्माण करने में लगे हैं।
मां के इन नौ रूपों की होगी आराधना
नवरात्रि के दौरान मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा की जाएगी है। पहले दिन मां के शैलपुत्री स्वरूप की पूजा की गई।
दूसरे दिन ब्रह्मचारिणी की फिर चंद्रघंटा, कुष्मांडा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी और सिद्धिदात्री की आराधना की जाएगी है।
बताया गया कि हर दिन मां के अलग स्वरूप की पूजा का खास महत्व होता है।
अष्टमी और नवमी तिथि को कन्या पूजन का है खास महत्व
वहीं नवरात्रि में अष्टमी और नवमी तिथि को कन्या पूजन करना बहुत शुभ माना जाता है। इस दिन छोटी बच्चियों को मां दुर्गा का रूप मानकर उनकी पूजा की जाती है और उन्हें भोजन कराया जाता है। मान्यता है कि ऐसा करने से घर में सुख-समृद्धि बनी रहती है और मां दुर्गा का आशीर्वाद प्राप्त होता है।