
Holi 2025: ईसाई बहुल इस जिले में एक माह तक खेली जाती है होली – फाल्गुन माह के शुरू होते ही हो जाता है होली खेलने का दौर
Holi 2025: ईसाई बहुल इस जिले में एक माह तक खेली जाती है होली – फाल्गुन माह के शुरू होते ही हो जाता है होली खेलने का दौर
होली 2025(holi 2025):
वैसे तो रंगों का त्योहार होली इस बार 15 मार्च को मनाया जाएगा। होली के मौके पर लोग सुबह से ही एक दूसरे को रंग अबीर लगाकर होली की शुभकामना देंगे।
जबकि गुरुवार की देर रात होलिका दहन का आयोजन होगा। इसकी तैयारी भी पूरी कर ली गई है। हालांकि होली मिलन समारोह का दौर देश के अलग अलग हिस्से में एक सप्ताह पूर्व से ही शुरू हो गया है।
लेकिन देश में एक ऐसा जिला भी है, जहां एक महीना पूर्व से ही होली खेलने का दौर शुरू हो जाता है। यहां के लोग लगभग एक माह तक होली का उत्साह और उल्लास में डूबे रहते हैं।
हम बात कर रहे हैं झारखंड के आदिवासी बहुल सिमडेगा जिले की। इस जिले में ईसाई समुदाय की संख्या अधिक है। लेकिन ईसाई बहुल इस जिले में होली का उत्साह फाल्गुन माह के शुरू होने के साथ ही शुरू हो जाता है।
माघ पूर्णिमा के मौके पर लगने वाले धार्मिक कार्यक्रम सह मेला के अंतिम दिन यानी फाल्गुन माह शुरू होते ही भगवान राम के चरणों से पवित्र श्री रामरेखा धाम की भूमि में श्रद्धालु होली खेलने की शुरुआत करते हैं।
जहाँ लोग एक दूसरे को रंग अबीर लगाकर फाल्गुन माह के शुरू होने की खुशियां मनाते हैं और बधाई देते हैं।
इसके बाद सिमडेगा जिले के अलग अलग स्थानों में होली मिलन का दौर शुरू हो जाता है, जो लगभग एक माह तक चलता है।
कभी कभी तो होली का त्योहार खत्म होने के बाद भी होली मिलन समारोह का दौर जारी रहता है। हालांकि इस दौरान रंग का नहीं सिर्फ अबीर का प्रयोग किया जाता है।
जारी है होली मिलन समारोह का दौर –
होली का उल्लास न सिर्फ झारखंड के सिमडेगा जिले में बल्कि पूरे भारत मे देखते ही बन रही है। जगह जगह होली मिलन समारोह का दौर जारी है।
होली के रंग में हर समुदाय के लोग रंगे हुए नजर आ रहे हैं। सनातन धर्म को मानने वाले लगभग सभी समाज के लोगों द्वारा होली मिलन समारोह का आयोजन किया जा रहा है।
कई समाज के द्वारा किया जा चुका है। वहीं शैक्षणिक सही अन्य संस्थानों में भी होली मिलन समारोह का दौर जारी है। लोग एक दूसरे को अबीर गुलाल लगाकर होली की बधाई दे रहे हैं। सड़कों में लोग एक माह पूर्व से ही अबीर के रंग में सराबोर नजर आ रहे हैं।
होली मिलन समारोह के साथ होती है होली की छुट्टी की घोषणा –
सबसे खास बात तो यह है कि कई स्कूलों में तो होली की छुट्टी तक होली खेलने के बाद ही दी जाती है।
होली की छुट्टी होने से पूर्व इस जिले की अधिकतर स्कूलों में होली मिलन समारोह का आयोजन बड़े ही धूमधाम के साथ किया जाता है।
इस दौरान स्कूल के बच्चे और शिक्षक एक दूसरे को अबीर लगाकर होली की बधाई देते हैं। इसके बाद स्कूल में होली की छुट्टी की घोषणा की जाती है।
यही हाल कई कॉलेजों में भी रहता है जहां भी होली की छुट्टी होने से पूर्व होली मिलन समारोह का धूमधाम के साथ आयोजन किया जाता है।